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Kanwar Yatra 2024: यूपी में कांवड़ यात्रा (Kanwar Yatra 2024) मार्गों पर पड़ने वाली दुकानों में दुकानदार को अपना नाम लिखना होगा. योगी सरकार के इस फैसले पर सियासी घमासान मचा हुआ है. विपक्ष यूपी की बीजेपी सरकार पर लगातार निशाना साध रही है. विपक्ष के कई नेता तो यहां तक कह चुके हैं कि यह मुसलमानों के आर्थिक बॉयकॉट की दिशा में उठाया कदम है. बीजेपी सरकार मुसलमानों के साथ भेदभाव कर रही है.
भाजपा बो रही नफरत का बीज (Kanwar Yatra 2024)
इन सब के बीच आम लोग भी भाजपा पर निशाना साध रहे हैं. सोशल मीडिया पर कुछ यूजर्स ने यहां तक कहा कि बीफ कंपनी के चंदा लेने वाली बीजेपी अब यूपी में नफरत का बीज बो रही है. विपक्ष का कहना है कि भाजपा ने बीफ कंपनियों से चंदा लेने में कोई गुरेज नहीं किया लेकिन अब मुसलमानों को टारगेट कर रही है.
बीजेपी ने बीफ कंपनियों से करोड़ों का चंदा लिया था (Kanwar Yatra 2024)
गौरतलब है कि हाल ही में खुलासा हुआ था कि इलेक्टोरल बॉन्ड के नाम पर बीजेपी ने बीफ कंपनियों से करोड़ों का चंदा लिया था. दरअसल, भारतीय चुनाव आयोग (ईसीआई) ने मार्च में इलेक्टोरल बॉन्ड खरीदने वाले व्यवसायियों और कंपनियों का नाम जारी किया था. उनमें से दो गोमांस (बीफ कंपनी) निर्यातक कंपनियां – एलनासन्स प्राइवेट लिमिटेड और फ्रिगॉरिफिको अल्लाना प्राइवेट लिमिटेड भी शामिल थीं. ये दोनों कंपनी अल्लाना ग्रुप के अनर्गत आती हैं.
खुद को हलाल बोनलेस भैंस के मांस के सबसे बड़े उत्पादक और निर्यातक बताने वाली अल्लाना ग्रुप से जुड़ी कंपनियों ने साल 2019 में 6 और साल 2020 में 1 बॉन्ड खरीदा, जिसे शिवसेना और बीजेपी ने भुनाया है. अल्लाना संस ने 9 जुलाई 2019 को चुनावी बॉन्ड के रूप में 2 करोड़ रुपये डोनेट किये थे. इसके बाद 9 अक्टूबर को 1 करोड़ रुपये चंदा दिया. इसके अलावा फ्रिगोरिफ़िको अल्लाना ने 9 जुलाई 2019 को 3 करोड़ रुपये के चुनावी बॉन्ड खरीदे. वहीं अल्लाना समूह से जुड़ी अल्लाना कोल्ड स्टोरेज ने 9 जुलाई 2019 को 1 करोड़ रुपये के चुनावी बॉन्ड खरीदे. जिसे शिवसेना और बीजेपी ने भुनाया.
कंपनी पर इनकम टैक्स चोरी का आरोप (Kanwar Yatra 2024)
बता दें कि तीनों कंपनियां अल्लाना समूह से जुड़ी हैं. इन कंपनियां से भारतीय जनता पार्टी को 2.50 करोड़ और सहयोगी पार्टी शिवसेना को 5 करोड़ का चंदा मिल था. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, अप्रैल 2019 में कंपनी पर इनकम टैक्स की रेड पड़ी थी. इनकम टैक्स अधिकारियों ने बताया था कि ये कंपनी भारत में भैंस के गोश्त को एक्सपोर्ट करने वाली सबसे बड़ी कंपनी है. रेड के दौरान कंपनी पर करीब दो हजार करोड़ रुपये की टैक्स चोरी के आरोप लगे थे.
योगी के फैसले से NDA में फूट (Kanwar Yatra 2024)
भाजपा में जारी अंदरूनी कलह की बीच मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के एक फैसले ने NDA में फूट डालने का काम किया है. क्योंकि पीएम मोदी के हनुमान भाजपा की सहयोगी लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के अध्यक्ष चिराग पासवान ने नाराज जताई है. उन्होंने ‘पीटीआई-भाषा’ से बात करते हुए कहा, “मैं 21वीं सदी का शिक्षित युवा हूं और मेरी लड़ाई जातिवाद और सांप्रदायिकता के खिलाफ है.”
उन्होंने आगे कहा, “मैं अपने राज्य के पिछड़ेपन के लिए इसी कारण को जिम्मेदार मानता हूं. जहां कहीं भी जाति और धर्म के आधार पर विभाजन है, मैं न तो उसका समर्थन करूंगा और न ही उसे बढ़ावा दूंगा. मुझे नहीं लगता कि मेरी उम्र के किसी भी अन्य शिक्षित युवा के लिए ऐसी बातें मायने रखती हैं, चाहे वह किसी भी जाति और धर्म से ताल्लुक रखता हो.”
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