Most Unhappy Country: ‘ये दुख ख़त्म काहे नहीं होता’, यह लाइन आपने कई लोगों के मुंह से सुनी होगी. बहुत सारे लोग आपके आस पास भी दुखी होंगे. ऐसा इसलिए क्योंकि देश में खुशहाल लोगों की संख्या बेहद कम बची है. दरअसल, हर साल जारी होने वाली वर्ल्ड हैपिनेस रिपोर्ट बताती है कि कौन देश सबसे ज्यादा खुश और कौन से देश सबसे ज्यादा दुखी हैं.
वर्ल्ड हैपिनेस रिपोर्ट के अनुसार, भारत की स्थिति बेहद ही चिंताजनक है. सबसे अधिक दुखी देशों (Most Unhappy Country )की लिस्ट में पहला नाम अफगानिस्तान का आता है. हालांकि भारत भी दुखियारों की लिस्ट में बहुत पीछे नहीं है. 137 देशों की लिस्ट में भारत नीचे से 12वें स्थान पर है यानी यह दुनिया का 12वां सबसे दुखी देश है.
भले ही केंद्र की मोदी सरकार लगातार दावे करती हो कि देश खुशहाल, समृद्ध और विकास के पथ पर अग्रसर है, लेकिन यह रिपोर्ट केंद्र भारत सरकार की पोल खोलती है. दरअसल, वैश्विक स्तर पर खुशी का स्तर तय करने के लिए कई बातों का ध्यान रखा जाता है, जिनमें लोगों की आजादी, स्वास्थ्य, भ्रष्टाचार, आय जैसी बातें शामिल होती हैं.
इस रिपोर्ट को तैयार करने में मुख्य रूप से 6 बातों का ध्यान रखा जाता है. सामाजिक सुरक्षा, स्वास्थ्य, आय, आजादी, लोगों के बीच उदारता की भावना और भ्रष्टाचार का न होना. इंसान के खुश रहने के लिए इन सभी बातों का होना जरूरी है. जो देश इन सभी कारकों पर खरा नहीं उतरता या कम अंक हासिल करता है, वो सबसे दुखी देश माना जाता है.
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