Electoral Bond
Electoral Bond News: लोकसभा चुनाव से पहले इलेक्टोराल बॉन्ड मामले से जुड़ी कई जानकारियां सामने आ रही हैं. कुछ जानकारियां ऐसीं हैं, जिससे भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की मुश्किलें बढ़नी तय हैं. दरअसल, चुनाव आयोग ने 21 मार्च को इलेक्टोरल बॉन्ड के यूनिक नंबर सहित सभी जानकारी सार्वजनिक कर दी है.
यूनिक नंबर सामने आने के बाद, पता चला कि किस कंपनी ने किस राजनीतिक पार्टी को इलेक्टोरल बॉन्ड के जरिए कितना चंदा दिया है. इस डाटा के अनुसार, बीजेपी को 6060 करोड़ रुपये से अधिक चंदा मिला, जो अन्य सभी पार्टियों के कुल योग से भी अधिक है.
डोनर की कोई जानकारी नहीं
बीजेपी की बात करे तो इसने कुल 1146 बॉन्ड भुनाए गए, जिसमें हैरान करने वाली बात यह है कि डोनर की कोई जानकारी नहीं है. इन बेनामी बॉन्ड से पार्टी को कुल 466 करोड़ रुपये मिले हैं. चुनाव आयोग की तरफ से जारी किए गए डेटा के अनुसार,12 अप्रैल को बीजेपी ने 246 करोड़ के चुनावी बॉन्ड भुनाए, जिसके डोनर की जानकारी नहीं है. इसके तीन दिन बाद, 15 अप्रैल को बीजेपी ने बेनामी 118 बॉन्ड भुनाए, जिसकी कीमत 50 करोड़ है.
BJP को किसने दिए 466 करोड़ रुपए
इसके अगले दिन यानी 16 अप्रैल को बीजेपी ने 217 चुनावी बॉन्ड भुनाए, जिससे 71 करोड़ 20 लाख इनकैश किए गए. इसके अलावा पीएम मोदी की पार्टी ने 18 अप्रैल को 225 बॉन्ड भुनाए, जिसके डोनर का पता नहीं है. इससे पार्टी ने 58 करोड़ के 75 बॉन्ड इनकैश कराए. 19 अप्रैल को 28 करोड़ 20 लाख रुपए का चंदा मिला. वहीं, 22 अप्रैल को 2 करोड़ 78 लाख रुपए का चंदा मिला.
इसके अलावा बीजेपी ने 23 अप्रैल को 72 बॉन्ड भुनाए, जिससे 4 करोड़ 50 लाख रुपये इनकैश कराए. 25 अप्रैल को 25 बॉन्ड भुनाए, जिससे पार्टी को 5 करोड़ रुपये मिले. वहीं, चुनाव आयोग की तरफ से जारी किए गए डेटा के अनुसार, नवयुग इंजीनियरिंग कंपनी प्राइवेट लिमिटेड ने बीजेपी को 55 करोड़ का चंदा दिया है. मालूम हो कि नवयुग वही कंपनी है, जिसने पिछले साल उत्तरकाशी में ढही सुरंग का निर्माण कराने का काम किया था.
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